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सुरकंडा

दिशा

सुरकंडा पहाड़ी टिहरी जनपद के पश्चिमी भाग में 2750 मीटर की ऊंचाई पर सुरकंडा मंदिर के लिए प्रसिद्ध है | यह मसूरी चंबा मोटर मार्ग पर पर्यटन स्थल धनोल्टी से 8 कि०मी० की दूरी पर तथा नरेन्द्र नगर से लगभग 61 कि०मी० की दूरी पर स्थित है | जिला मुख्यालय नई टिहरी से 41 कि०मी० की दूरी पर चंबा मसूरी रोड पर कद्दुखाल नामक स्थान है जहाँ से लगभग 2.5 कि०मी० की पैदल चढाई कर सुरकंडा माता के मंदिर तक पहुंचा जाता है | सुरकंडा माता का मंदिर घने जंगल से घिरा हुआ है | प्रकृति का सुरम्य एवं सुन्दर वातावरण इस स्थान को पर्यटकों को आकर्षित करता है | यहाँ से देहरादून, ऋषिकेश, चकराता, प्रतापनगर और चन्द्रबदनी के सुंदर दृश्य दिखाई देते हैं | यहाँ विभिन्न प्रकार एवं रंगों के फूल एवं जड़ी बूटियाँ बहुतायत में पायी जाती है एवं पश्चिमी हिमालय के कुछ खूबसूरत पक्षी भी पाए जाते हैं | प्रत्येक वर्ष मई और जून के बीच अधिसंख्य तीर्थ यात्रियों के बीच यहाँ गंगा दशहरा का उत्सव हर्षोउल्लास के साथ मनाया जाता है | नव निर्मित सुरकंडा माता का मंदिर रोंसली के वृक्षों के बीच स्थित है जो कोहेरे के बीच अत्यंत सुंदर दिखाई देता है एवं वर्ष भर पर्यटकों एवं भक्तों से घिरा रहता है|

इतिहास-

प्राचीन कथाओं के अनुसार सती तपस्वी भगवान शिव की पत्नी एवं पौराणिक राजा दक्ष की पुत्री थी | दक्ष को अपनी पुत्री के पति के रूप में शिव को स्वीकार करना पसंद नहीं था | राजा दक्ष द्वारा सभी राजाओं के लिए आयोजित वैदिक यज्ञ में भगवान शिव के लिए की गई अपमान जनक टिप्पणी को सुनकर सती ने अपने आप को यज्ञ की ज्वाला में फेंक दिया | भगवान शिव को जब पत्नी की मृत्यु का समाचार मिला तो वो अत्यंत दुखी और नाराज हो गए और सती माता के पार्थिव शरीर को कंधे पर रख हिमालय की और निकल गए | भगवान शिव के गुस्से को एवं दुःख को समाप्त करने के लिए एवं सृष्टी को भगवान शिव के तांडव से बचाने के लिए विष्णु भगवान ने अपने सुदर्शन चक्र को सती के नश्वर शरीर को धीरे धीरे काटने को भेजा | सती के शरीर के 51 भाग जहाँ जहाँ गिरे वहां पवित्र शक्ति पीठ की स्थापना हुयी और जिस स्थान पर माता सती का सिर गिरा वह सिरकंडा कहलाया जो कालान्तर में सुरकंडा नाम से प्रसिद्ध हो गया|

कैसे पहुंचें:

बाय एयर

देहरादून स्थित जौलीग्रांट निकटतम हवाई अड्डा है जो यहाँ से 94 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है | सुरकंडा, मसूरी एवं समीपवर्ती स्थानों के लिए यहाँ से टैक्सी सेवाएँ उपलब्ध हैं |

ट्रेन द्वारा

देहरादून निकटतम रेलवे स्टेशन है जो यहाँ से 66 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है | देहरादून से दून एक्सप्रेस, मसूरी एक्सप्रेस और दिल्ली से देहरादून शताब्दी और जन शताब्दी आदि जैसे नियमित ट्रेन उपलब्ध हैं। अधिकांश रेल गाड़ियों के लिए कनेक्टिंग शहर दिल्ली है |

सड़क के द्वारा

सुरकंडा अन्य शहरों से सड़क मार्ग द्वारा बहुत अच्छे से जुड़ा है |चम्बा से सुरकंडा के लिए बुकिंग में टैक्सी सेवाएँ उपलब्ध हैं | मसूरी से सुरकंडा, धनोल्टी, एवं निकटवर्ती हेतु टैक्सी सेवाएँ उपलब्ध हैं |